
नैनीताल। प्रदेश में मानसून के दस्तक देने के साथ ही आपदाओं की आशंका बढ़ गई है। ऐसे में नैनीताल जिला प्रशासन ने पूरी सतर्कता के साथ व्यापक तैयारियां शुरू कर दी हैं। भारी बारिश और संभावित आपदाओं से निपटने के लिए एनडीआरएफ और एसडीआरएफ को अलर्ट मोड पर रखा गया है। साथ ही आपातकालीन स्थिति में त्वरित कार्रवाई के लिए कंट्रोल रूम भी सक्रिय कर दिया गया है।
अपर जिलाधिकारी विवेक राय ने जानकारी दी कि जिला प्रशासन और आपदा प्रबंधन विभाग ने आपातकालीन स्थितियों की निगरानी और त्वरित प्रतिक्रिया के लिए एक 24×7 कंट्रोल रूम स्थापित किया है। इसके जरिए किसी भी घटना की तत्काल सूचना प्राप्त की जा सकेगी और त्वरित सहायता पहुंचाई जाएगी।
प्रशासन ने संवेदनशील नदी किनारे क्षेत्रों में विशेष बाढ़ चौकियां स्थापित की हैं। इन चौकियों पर स्थानीय प्रशासन, पुलिस और आपदा प्रबंधन कर्मी तैनात किए गए हैं, ताकि आपदा की किसी भी स्थिति में त्वरित कार्रवाई की जा सके।
लोक निर्माण विभाग (PWD) ने भी मानसून के लिए अपनी तैयारियों को अंतिम रूप दे दिया है। नैनीताल जिले में 10 से अधिक भूस्खलन संभावित क्षेत्रों में जेसीबी मशीनों को पहले से ही तैनात कर दिया गया है, ताकि मलबा गिरने की स्थिति में रास्तों को तत्काल खोला जा सके।
अपर जिलाधिकारी ने बताया कि मानसून के दौरान नैनीताल घूमने आने वाले पर्यटकों की सुरक्षा और सुविधा को ध्यान में रखते हुए विशेष प्रबंध किए गए हैं। प्रशासन की कोशिश है कि पर्यटकों को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो और उनकी यात्रा सुरक्षित और सुखद बनी रहे।
मानसून में अक्सर मलबा आने से सड़क मार्ग बाधित हो जाते हैं। ऐसे में सभी प्रमुख मार्गों को सुचारु रखने के लिए पहले से ही मशीनरी और कर्मियों की व्यवस्था कर दी गई है। ज़रूरत पड़ने पर तुरंत मरम्मत कार्य शुरू किया जाएगा।
